उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने आईआईटी तिरुपति के छठे संस्थान दिवस पर छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि इंजीनियरिंग के छात्रों में तकनीकी कौशल के साथ भावनात्मक तथा सामाजिक कौशल होना अनिवार्य है।
इन कौशलों के विकास से छात्र आसानी से दुनिया में होने वाले बदलावों को अपना सकते है। उन्होंने कहा कि छात्र अपने ज्ञान और प्रतिभा से राष्ट्र के विकास में अपना महत्वपूर्ण योगदान दे सकते हैं। उपराष्ट्रपति ने भारतीय भाषाओं के उपयोग पर बल देते हुए बच्चों की प्रारंभिक शिक्षा उनकी मातृभाषा में देने की बात कही। उन्होंने बताया कि हर साल 1.5 मिलियन इंजीनियर परीक्षा पास करते हैं लेकिन सिर्फ 7% ही इंजीनियरिंग रोजगार में योग्य पाए जाते है जो एक चिंता की बात है। उन्होंने कहा कि हमें रोजगार में वृद्धि करनी होगी और काम के लिए कौशल प्रदान करना होगा।
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