प्रदूषणमुक्त परिवहन सेवाओं को प्रोत्साहित करके ‘क्लीन हिमाचल, ग्रीन हिमाचल’ के सपने को साकार करने के लिए मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने का निर्णय लेकर पूरे देश में एक मिसाल कायम की है।
प्रदेश की कमान संभालते ही मुख्यमंत्री ने इस दिशा में न केवल बड़े निर्णय लिए हैं, बल्कि इनको अमलीजामा पहनाने के लिए तथा इलेक्ट्रिक वाहनों की खरीद, चार्जिंग स्टेशनों की स्थापना और अन्य आवश्यक ढांचागत विकास के लिए भी धरातल पर बहुत ही तेजी से कार्य सुनिश्चित किया है। इलेक्ट्रिक वाहनों से संबंधित सभी आवश्यक व्यवस्थाओं विशेषकर चार्जिंग स्टेशनों के संबंध में परिवहन विभाग सभी औपचारिकताएं पूरी कर रहा है। आने वाले समय में सरकार हिमाचल के 6 बड़े मुख्य मार्गों को ग्रीन कॉरिडोर के रूप में विकसित करने जा रही है। फोरलेन एवं डबल लेन नेशनल हाईवेज सहित ये 6 मुख्य मार्ग प्रदेश के लगभग हर जिले को कवर करेंगे। इसलिए इन मार्गों पर प्राथमिकता के आधार पर पर्याप्त चार्जिंग स्टेशनों के लिए स्थान चिह्नित किए जा रहे हैं।
जिला हमीरपुर में भी इसकी शुरुआत हो चुकी है। क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी हमीरपुर के लिए तो इलेक्ट्रिक वाहन भी आ चुका है। प्रदेश सरकार के निर्णय के अनुसार अब सभी सरकारी विभागों में केवल इलेक्ट्रिक वाहन ही खरीदे जाएंगे और पेट्रोल एवं डीजल वाहनों को चरणबद्ध ढंग से धीरे-धीरे बाहर कर दिया जाएगा। क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी को प्रदान किया गया इलेक्ट्रिक वाहन काफी किफायती, सुविधाजनक और बिलकुल प्रदूषण रहित है। एक बार फुल चार्ज करने के बाद यह वाहन 300 किलोमीटर तक आसानी से चलाया जा सकता है। यह वाहन आजकल सभी लोगों के लिए आकर्षण का का केंद्र बना हुआ है और एक बार चार्ज करने के बाद लगभग 300 किलोमीटर तक सरपट दौड़ रहा है।
क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी अंकुश शर्मा ने बताया कि आने वाले समय में इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या बढऩे की संभावनाओं को देखते हुए परिवहन विभाग ने जिले के विभिन्न क्षेत्रों में विद्युत चार्जिंग स्टेशनों की स्थापना के लिए स्थान भी चिह्नित कर दिए हैं। उन्होंने बताया कि अभी तक विभाग ने जिला हमीरपुर के प्रवेशद्वार उखली और बड़सर गलू, बड़सर, मोरसू सुल्तानी, हमीरपुर बाईपास खाला, रंगस, नगारडा और नादौन सहित आठ स्थानों पर चार्जिंग स्टेशन बनाने के लिए जगह चिह्नित की हैं।
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