सरकारी स्कूलों में शैक्षणिक गुणवत्ता बढ़ाने को लेकर सरकार भले ही बड़े-बड़े दावे करती हों, लेकिन धरातल पर सच्चाई ये है कि खुद सरकार की अनदेखी के चलते स्कूली शिक्षा प्रणाली का ढांचा चरमराता प्रतीत हो रहा है।
ऐसा ही एक मामला कुल्लू जिले के अंतर्गत विकास खण्ड आनी के तहत राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला लगौटी में प्रकाश में आया है। जहां अध्यापकों की कमी के चलते विद्यार्थियों का भविष्य दांव पर लग रहा है।
विद्यालय प्रबंधन कमेटी के सदस्यों के एक प्रतिनिधिमण्डल ने मंगलवार को विद्यालय की विभिन्न समस्याओं को लेकर प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से मुलाक़ात की।
प्रतिनिधिमण्डल ने बताया कि विद्यालय को 2004 में वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला का दर्जा दिया गया था और विद्यालय में कला संकाय, विज्ञान संकाय और वाणिज्य संकाय के पद स्वीकृति हुए थे। लेकिन विद्यालय में कला संकाय को छोड़ कर बाकि किसी संकाय की कक्षाएं शुरू नहीं हुई।
उन्होंने मुख्यमंत्री से आग्रह किया कि विद्यालय में विज्ञान और वाणिज्य संकाय के प्रवक्ताओं के पद भर कर जल्द ही कक्षाएं शुरू की जाए।उन्होंने बताया कि विद्यालय में पी.जी.टी. इतिहास व अंग्रेजी सहित टी.जी.टी. के चार पद और शारीरिक शिक्षक का पद भी काफी समय से रिक्त चल रहा है। जिससे बच्चोँ की पढ़ाई बाधित हो रही है। सदस्यों ने इन पदों को जल्द से जल्द भरने की मांग की।
साथ ही विद्यालय का भवन काफी पुराना है।नए विद्यालय भवन निर्माण के लिए धनराशि स्वीकृति की जाए। इसके अलावा विद्यालय परिसर में बने गुरुकुल भवन (शिक्षक आवास)की स्थिति बहुत दयनीय है। जिसकी मुरम्मत के लिए लगभग 15 लाख की धनराशि की आवश्यकता है। इसकी मुरम्मत के लिए भी धनराशि स्वीकृति की जाए।मुख्यमंत्री ने सभी मांगों को ध्यानपूर्वक सुना और प्रतिनिधिमण्डल को आश्वासन दिया कि उनकी मांगों को जल्द पूरा किया जाएगा।
गौरतलब है कि भारतीय जनता पार्टी की डबल इंजन की सरकार में रहे पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के गतवर्ष खुड्डी जल मन्दिर परिसर के दौरे के दौरान उक्त समस्याओं के समाधान का सिर्फ़ आश्वासन मिला था।
देखना यह है कि निकट भविष्य में वर्तमान कांग्रेस सरकार इन समस्याओं के समाधान के प्रति कितनी गम्भीर है...?
इस प्रतिनिधिमण्डल में परस राम, हिरा देवी, आशा देवी, दिलीप ठाकुर,विमला देवी, रीना,यशपाल, धर्मा देवी,उतरा देवी, उषा देवी,जिया लाल भीमा, सुनीता मौजूद रहे।
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