2 अगस्त।
13 सितंबर 2022 को हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने उत्तर पुस्तिका को जांचने के आदेश दिए थे, जिसके परिणाम को एक हफ्ते में घोषित करने के लिए आदेश दिया गया था। 10 फरवरी 2021 को पुलिस विभाग ने 1334 कांस्टेबल पदों को भरने का विज्ञापन निकाला। चयन प्रक्रिया में प्रतिवादी शामिल था। पेपर लीक होने के कारण चुनाव रद्द कर दिया गया। गृह रक्षक श्रेणी के प्रतिवादी ने फिर से चयन प्रक्रिया में भाग लिया। न्यायालय को बताया गया कि प्रतिवादी ही गृह रक्षक श्रेणी के तीन उम्मीदवारों में से ग्राउंड टेस्ट पास किया था।प्रतिवादी की उम्मीदवारी को खारिज कर दिया गया क्योंकि रोलनंबर को ओएमआर शीट में सही नहीं लिखा गया था।
हाईकोर्ट ने निर्णय दिया कि प्रतिवादी ने दो जगह सही रोल नंबर लिखा था। अदालत ने निर्णय दिया कि प्रतिवादी ने गलती से एक जगह मिटाकर रोल नंबर लिखा था। हाईकोर्ट ने फैसला दिया कि गृह रक्षक की श्रेणी से किसी को भी नियुक्ति नहीं दी जाएगी अगर प्रतिवादी की उम्मीदवारी रद्द की जाती है। राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में इस फैसले को चुनौती दी है। इस मामले में, अदालत ने प्रतिवादी को नोटिस जारी करते हुए इसी तरह के एक और लंबित मामले की सुनवाई करने का आदेश दिया है। प्रदेश हाईकोर्ट ने इशांत भाटिया की उत्तर पुस्तिका को एक अन्य मामले में जांचने का आदेश दिया था। साथ ही, इशांत भाटिया ने उत्तर पुस्तिका में अपनी श्रृंखला का मुद्दा नहीं उठाया था।हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने कसौली छावनी से गैरकानूनी अधिग्रहण हटाने का आदेश दिया है। अदालत ने कहा कि छावनी क्षेत्र में बनाई गई अस्थायी दुकानों को 28 अगस्त तक हटाया जाए। अदालत ने अतिक्रमण रहित जमीन को सेना को देने का आदेश दिया है और अनुपालना रिपोर्ट मांगी है।
5 सितंबर को मामले की सुनवाई होगी। इस आदेश को न्यायाधीश एमएस रामचंद्र राव और न्यायाधीश अजय मोहन गोयल की खंडपीठ ने पारित किया। कसौली निवासी भावना ने सार्वजनिक हित की मांग की है। याचिका में दावा किया गया है कि पाइन मॉल में 21 अवैध दुकानें बनाई गई हैं। भारतीय सेना इस क्षेत्र में है। इस जमीन पर निर्माण करने के लिए कोई कानून नहीं है। भारतीय सेना के हित में इस अतिक्रमण को दूर करना अत्यंत महत्वपूर्ण है। याचिकाकर्ता ने न्यायालय से अनुरोध किया है कि इस सेना की जमीन को खाली कर दिया जाए। पाइन मॉल में निर्मित इन 21 दुकानों को तुरंत गिराने की भी मांग की गई।
0 Comments