छात्रों की मौत के बाद जागी सरकार, 7 आरोपी गिरफ्तार और 13 कोचिंग सेंटरों के बेसमेंट सील; अब होगा बुलडोजर एक्शन
Delhi News: दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में एक कोचिंग सेंटर में यूपीएस के तीन छात्रों की मौत के बाद एक के बाद एक बड़ी कार्रवाई की जा रही है। इसी कड़ी में अब प्रशासन ने बुलडोजर चलाने की कार्रवाई की है। जानकारी के मुताबिक, ओल्ड राजेंद्र नगर में कथित अतिक्रमण के खिलाफ यह कार्रवाई की जा रही है। स्थानीय प्रशासन और पुलिस के अधिकारी मौके पर मौजूद हैं।
इससे पहले पुलिस ने इस मामले में 5 अन्य लोगों को गिरफ्तार किया था, जिसके बाद गिरफ्तार लोगों की कुल संख्या 7 हो गई है। पुलिस ने आश्वासन दिया है कि इस मामले में शामिल सभी लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। दिल्ली पुलिस ने शनिवार शाम ओल्ड राजेंद्र नगर इलाके में पानी से गाड़ी निकालने वाले वाहन के ड्राइवर को भी गिरफ्तार कर लिया है। इससे पानी में तेज लहर उठी, जिससे कोचिंग सेंटर का गेट टूट गया। इसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था
13 कोचिंग सेंटरों के बेसमेंट सील
इससे पहले एमसीडी ने भी सख्त कार्रवाई करते हुए इलाके के 13 कोचिंग संस्थानों के बेसमेंट सील कर दिए थे। रविवार को अधिकारी ने बताया कि नगर निगम एक कोचिंग सेंटर के ‘बेसमेंट’ में जलभराव के कारण तीन लोगों की मौत की घटना की जांच के लिए एक उच्च स्तरीय समिति गठित करेगा। दिल्ली सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि नगर निगम की एक टीम रविवार को पुराने राजेंद्र नगर इलाके में अवैध रूप से चल रहे कई कोचिंग सेंटरों के ‘बेसमेंट’ को सील करने पहुंची।
रविवार देर रात तक चली कार्रवाई के दौरान करीब 13 कोचिंग सेंटरों को सील किया गया। इनमें आईएएस गुरुकुल, चहल अकादमी, प्लूटस अकादमी, साई ट्रेडिंग, आईएएस सेतु, टॉपर्स अकादमी, दैनिक संवाद, सिविल्स डेली आईएएस, करियर पावर, 99 नोट्स, विद्या गुरु, गाइडेंस आईएएस और ‘इजी फॉर आईएएस’ शामिल हैं।
कहां कहां होगी बुलडोजर कार्रवाई?
- अवैध बेसमेंट सील होंगे
- कोचिंग इंस्टीट्यूट्स और अन्य बिल्डिंग के सामने बने रैंप
- एक्सटेंडेड बाउंड्री वॉल्स
- कोई भी अतिक्रमण/अवैध दुकानें
कोचिंग सेंटर को लेकर बड़े खुलासे
जिस कोचिंग सेंटर में यूपीएससी के तीन छात्रों की मौत हुई, उसके बारे में भी बड़े खुलासे हुए हैं। कोचिंग सेंटर को मिली एनओसी के मुताबिक बेसमेंट का इस्तेमाल सिर्फ स्टोरेज के लिए किया जाना था, लेकिन इसके उलट वहां लाइब्रेरी बना दी गई। इसके अलावा बेसमेंट में जल निकासी की कोई व्यवस्था नहीं थी, जिसके कारण पानी बहुत जल्दी भर गया, जिसमें डूबकर तीन छात्रों की मौत हो गई।
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